Rajnigandha Flower Farming: रजनीगंधा के फूलों की खेती, कमाई और

Rajnigandha Flower Farming: रजनीगंधा के फूलों की खेती, कमाई और उपयोग से जुड़ी पूरी जानकारी, देखें रिपोर्ट

Rajnigandha Flower Farming: भारत एक कृषि प्रधान देश है। जहाँ अनेक प्रकार की फसलों को उगाया जाता है। अब बदलते परिवेश में किसान पारम्परिक खेती के साथ ही अलग-अलग फल-फूल को उगाने पर भी ध्यान दे रहे हैं। ऐसे ही अब कई स्थानों पर किसान रजनीगंधा के फूल की खेती करना शुरू कर दिए हैं। इस आर्टिकल में जानेगें rajnigandha flower की खेती, इसके उपयोग आदि के बारे में।

रजनीगंधा के फूलों का इस्तेमाल

  • रजनीगंधा के फूल खुशबूदार व आकर्षक होते हैं। सफ़ेद रंग वाला यह फूल लम्बे समय तक ताजा बना रहता है।
  • रजनीगंधा के फूल से गजरा भी बनाया जाता है जिसे महिलाएं श्रृंगार के रूप में प्रयोग करती हैं।
  • रजनीगंधा के फूलों का उपयोग आयुर्वेदिक दवाइयों को बनाने के लिए भी किया जाता है|
  • रजनीगंधा के फूल काफी सुगन्धित होते हैं, जिस कारण इसका इस्तेमाल इत्र और परफ्यूम बनाने के लिए भी किया जाता है।
  • रजनीगंधा के फूल का इस्तेमाल बुके में भी किया जाता है।

रजनीगंधा की खेती के लिए मृदा

  • अगर आप रजनीगंधा की खेती करना चाहते हैं तो इसके लिए किसी विशेष प्रकार की भूमि की आवश्यकता नहीं होती।
  • बलुई दोमट तथा जल निकासी की उचित व्यवस्था वाली भूमि में इसकी खेती आसानी से की जा सकती है।
  • अच्छी उपजाऊ भूमि में इसकी पैदावार अधिक मात्रा में होती है|
  • हल्की अम्लीय और क्षारीय भूमि में भी रजनीगंधा की खेती की जा सकती है।
  • रजनीगंधा की खेती के लिए भूमि का P.H. मान 6.5 से 7.5 तक अच्छा माना जाता है।

रजनीगंधा की खेती

  • एक हेक्टेयर के खेत में रजनीगंधा की खेती से करीब 80 क्विंटल तक फूलो का उत्पादन हो जाता है।
  • रजनीगंधा के फूलो का बाज़ारी भाव 20 रूपए प्रति किलो और कई जगहों पर इससे काम ज्यादा भी होता है।
  • इसकी खेती के माध्यम से किसान एक बार की फसल से डेढ़ से दो लाख तक कमा सकते है|

विदेशों में भी बढ़ रही डिमांड
पिछले कुछ वर्षों में रजनीगंधा के फूलों की मांग विदेशों में भी बढ़ी है। रजनीगंधा के फूलों की सप्लाई थाईलैंड में भी भारत से हो रही है।

https://www.punjabkesari.com/world-news/big-success-of-agricultural-scientists-of-chaina-new-variety-of-paddy-ready/

राज्य सरकार दे रही बढ़ावा

  • राज्य सरकारों की ओर से भी रजनीगंधा की खेती करने वाले नए किसानों को 24000 रुपये प्रति किलो के हिसाब से अनुदान दिया जाता है।
  • हरियाणा में कई किसानजनीगंधा की खेती अन्य फसलों की खेती से अधिक मुनाफा कमा रहे हैं।
  • इससे किसान प्रतिदिन लगभग 20 से 30 हजार रुपये की कमाई कर सकते हैं।

देश और दुनिया की तमाम खबरों के लिए हमारा YouTube Channel ‘PUNJAB KESARI’ को अभी subscribe करें। आप हमें FACEBOOK, INSTAGRAM और TWITTER पर भी फॉलो कर सकते हैं।

 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

5 × 4 =

पंजाब केसरी एक हिंदी भाषा का समाचार पत्र है जो भारत में पंजाब, हरियाणा, राजस्थान, हिमाचल प्रदेश और दिल्ली के कई केंद्रों से प्रकाशित होता है।