मंगलवार देर रात गाजा के अल-अहली अरबी बैपटिस्ट अस्पताल पर हमला हुआ। हमले में 500 से ज्यादा लोगों ने अपनी जान गंवा दी। अब विस्फोट की तस्वीरे और वीडियो सोशल मीडिया पर सामने आ रही है। हमले में कई मासूमों ने अपनी जान गंवा दी। लेकिन अब सवाल उठ रहा है कि अस्पताल पर हमला किसने किया? हमास ने या फिर इजरायल ने। दोनों अपने-अपने प्वाइंट रख रहे हैं और एक दूसरे पर आरोप लगा रहे हैं।
इजरायल पर लगा हमले का आरोप
अस्पताल पर हमले का इजरायल पर आरोप लगाते हुए हमास ने कहा कि इजरायल ने पहले अल-अहली अस्पताल को खाली करने की बात कही थी। इसके बाद उसने जानबूझकर वहां पर हमला किया। जिस तरह का हमला हुआ है वो इजरायली सरकार की ओर इशारा करता है। गाजा के अल-अहली अस्पताल समेत आसपास के अस्पतालों में लोगों ने शरण ले रखी थी।
वहीं, हमास द्वारा अस्पताल पर किए हमले जैसे आरोपों को गलत ठहराते हुए, फिलीस्तीनी इस्लामिक जिहाद (PIJ) ने इजरायल के आरोपों को खारिज किया। PIJ के प्रवक्ता दाउद शहाब ने कहा, इजरायल के आरोप मनगढ़ंत हैं। उसने आम इंसानों पर जो हमला किया है उसे छिपाने की कोशिश कर रहा है।
हमास के पॉलिटिकल ब्यूरो के प्रमुख इस्माइल हानिया ने कहा, अस्पताल में जो कुछ हुआ वो नरसंहार को बताता है। इजरायल कितना क्रूर है और किस हद तक डरा है, हमला इसे दर्शाता है। इस्मायल ने हमले के लिए अमेरिका को दोषी ठहराते हुए कहा कि यह सब उसकी शह पर ही इजरायल ने किया है।
इजरायल ने हमास पर लगाए आरोप
वहीं, अस्पताल पर हमले को लेकर इजरायल ने हमास द्वारा उनपर लगाए सभी आरोपो को झूठा बताया है। बता दें, इजरायली सेना के प्रवक्ता रियर एडमिरल डैनियल हगारी ने दावा किया कि शाम 6:15 बजे हमास की तरफ से इजरायल पर रॉकेटों की बौछार की गई। इसके कुछ मिनट बाद शाम 6:59 बजे के करीब कब्रिस्तान से इस्लामिक जिहाद द्वारा लगभग दस रॉकेट दागे गए। यह वो समय था जब गाजा सिटी के अस्पताल से विस्फोट की खबरें आने लगीं।
A failed rocket launch by the Islamic Jihad terrorist organization hit the Al Ahli hospital in Gaza City.
IAF footage from the area around the hospital before and after the failed rocket launch by the Islamic Jihad terrorist organization: pic.twitter.com/AvCAkQULAf
— Israel Defense Forces (@IDF) October 18, 2023
जब हमारी खुफिया एजेंसी ने जानकारी जुटाई तो पता चला कि यह इस्लामिक जिहाद रॉकेट था, जो मिसफायर हो गया था। इसे अस्पताल के पास से छोड़ा गया है। हगारी ने कहा, जहां पर हमला हुआ वहां जलने के निशान हैं, लेकिन कोई गड्ढा नहीं हुआ। अगर हवाई गोला बारूद छोड़ा जाता है हमले की तस्वीर दूसरी होती। हमास के 450 रॉकेट मिसफायर हुए और गाजा में ही गिर गए. उनकी गलती की कीमत फिलिस्तीनियों ने चुकाई है।
आपको बता दें, गाजा के अस्पताल पर हमले के बीच इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने कहा, पूरी दुनिया को यह पता होना चाहिए कि गाजा पर हमला करने वाले आतंकवादी थे। वो आतंकवादी जो पहले हमारे बच्चों को मार रहे थे अब वो अपने ही बच्चों को खत्म कर रहे हैं।
रूस ने मांगे सबूत
वहीं, इजरायली सेना की सफाई के बाद रूस ने इजरायल से सबूत मांगे। रूस के विदेश मंत्रालय ने साफतौर पर कहा कि अगर इजरायल गाजा अस्पताल अटैक में शामिल नहीं है तो उसे सैटेलाइट इमेज जारी करनी चाहिए। रूस के विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता मारिया ज़खारोवा का कहना है कि इस तरह के अपराध को हम घिनौना कृत्य मानते हैं। इसलिए अमेरिका और इजरायल को इसकी सैटेलाइट इमेज रिलीज करनी चाहिए। इसलिए इसे इस मामले को ठंडे बस्ते में न डाला जाए। ताकि यह घटना एक अनसुलझे रहस्य में न बदल जाए।
बता दें, रूस चाहता है कि इजरायल सैटेलाइट इमेज जारी करे ताकि यह साफ हो सके वाकई हमला किधर से हुआ हमास की तरफ से या इजरायल की तरफ से।
अमेरिका ने क्या कहा?
हमले के बाद यानी बुधवार को अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन इजरायल पहुंचे। उन्होंने प्रधानमंत्री नेतन्याहू से बातचीत में कहा कि जो कुछ हुआ है मैंने देखा, उससे साफ है कि यह आपका काम नहीं, किसी और का है।
मालूम हो, पहले अमेरिका ने बिना हमास का नाम लिए इजरायल को सपोर्ट किया। बाद में अमेरिका ने कहा कि हम हमास को मिटाने के लिए इस जंग में इजरायल के साथ खड़े हैं। इसके साथ ही बुधवार को अमेरिका ने वेस्ट बैंक में रह रहे फिलीस्तीनी लोगों की मदद के लिए 100 मिलियन डॉलर के राहत पैकेज का ऐलान किया।
वहीं, संयुक्त राष्ट्र ने इस घटना को नरसंहार बताया। डॉक्टर्स विदाउट बॉर्डर्स ने अपने बयान में कहा, इसे किसी भी कीमत पर स्वीकार नहीं किया जा सकता। अस्पतालों को निशाना नहीं बनाया जाना चाहिए।
भारत
पीएम मोदी ने हमले की कड़ी निंदा करते हुए एक्स (पूर्व ट्विटर) पर लिखा, ‘गाजा के अल-अहली अस्पताल में आम लोगों की जान जाने से गहरा सदमा पहुंचा। घायलों के जल्द स्वस्थ होने की कामना करता हूं।’ वहीं, उन्होंने अगले पैरे में कहा, ‘इस संघर्ष में आम नागरिकों का हताहत होना गंभीर और लगातार चिंता का विषय बना हुआ है। इसमें जो भी लोग शामिल हैं, उनकी जिम्मेदारी तय होनी चाहिए’।
Deeply shocked at the tragic loss of lives at the Al Ahli Hospital in Gaza. Our heartfelt condolences to the families of the victims, and prayers for speedy recovery of those injured.
Civilian casualties in the ongoing conflict are a matter of serious and continuing concern.…
— Narendra Modi (@narendramodi) October 18, 2023
यूनाइटेड किंगडम
यूनाइटेड किंगडम के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक ने कहा, अल-अहली अरब अस्पताल के दृश्यों से हम सभी शॉक्ड हैं। हमारी ख़ुफ़िया सेवाएँ स्वतंत्र रूप से तथ्यों को स्थापित करने के लिए सबूतों का तेजी से विश्लेषण कर रही हैं।
We are all shocked by the scenes at the al-Ahli Arab Hospital.
Our intelligence services are rapidly analysing the evidence to independently establish the facts. pic.twitter.com/qUTVPvUoBa
— Rishi Sunak (@RishiSunak) October 18, 2023
कनाडा
प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने कहा, गाजा से जिस तरह की खबरें आ रही हैं वो भयावह है और अस्वीकार्य है। यह जरूरी है कि निर्दोष नागरिकों की रक्षा की जाए और अंतरराष्ट्रीय कानून को बरकरार रखा जाए। हमें मिलकर यह तय करना होगा कि क्या हुआ। जवाबदेही होनी चाहिए।
I’m horrified by the loss of life at Al Ahli Arab hospital in Gaza. My thoughts are with those who lost loved ones. It is imperative that innocent civilians be protected and international law upheld. Together, we must determine what happened. There must be accountability.
— Justin Trudeau (@JustinTrudeau) October 18, 2023
संयुक्त राष्ट्र
यूएनओ के महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने अस्पताल पर हुए अटैक की निंदा करते हुए कहा, गाजा में अस्पताल पर हुए हमले में सैकड़ों फिलिस्तीनी नागरिकों की हत्या से मैं भयभीत हूं, जिसकी मैं कड़ी निंदा करता हूं।’
I am horrified by the killing of hundreds of Palestinian civilians in a strike on a hospital in Gaza today, which I strongly condemn. My heart is with the families of the victims. Hospitals and medical personnel are protected under international humanitarian law.
— António Guterres (@antonioguterres) October 17, 2023
वहीं, अन्य कई देशों ने भी इस अटैक की निंदा की है। बता दें, हमले को लेकर अरब लीग के प्रमुख ने कहा अहमद अबुल घीत ने कहा, इस त्रासदी को रोकने के लिए अंतरराष्ट्रीय नेताओं को एकसाथ आना चाहिए। कौन शैतानी दिमाग अस्पताल और असहाय लोगों पर हमला करता है। साथ ही, ईरान के विदेश मंत्रालय ने हमले की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि यह निहत्थे और रक्षाहीन लोगों पर किया गया है हमला है.