तीनों सेनाओं के प्रमुखों की समिति के अध्यक्ष एवं नौसेना प्रमुख एडमिरल सुनील लांबा ने आज यहां समिति के अध्यक्ष का बेटन यानी छड़ समिति की बागडोर संभालने वाले वायु सेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल बी एस धनोआ को आज सौंप दी। एयर चीफ मार्शल धनोआ एडमिरल लांबा के 31 मई को सेवा निवृत होने के बाद नये अध्यक्ष के रूप में समिति की बागडोर संभालेंगे।
तीनों सेना प्रमुखों में से सबसे वरिष्ठ अधिकारी इस समिति का अध्यक्ष होता है। अब तक एडमिरल लांबा तीनों सेना प्रमुखों में से सबसे वरिष्ठ थे। एयर चीफ मार्शल धनोआ राष्ट्रीय इंडियन मिलिट्री कॉलेज और राष्ट्रीय रक्षा अकादमी के कैडेट रहे हैं। उन्हें जून 1978 में वायु सेना की फ्लाइंग ब्रांच मे कमीशन मिला था।
वह अनुभवी लड़कू पायलट और प्रशिक्षित कैट ‘ए’ फ्लाइंग इन्स्ट्रक्टर हैं जिन्हें 3000 घंटे की उडान का अनुभव है। उन्होंने वायु सेना के सभी लड़कू विमानों को उडाया है लेकिन इनमें से सबसे ज्यादा मिग-21 विमान उडाने का उन्हें अनुभव है। करगिल लड़ई के दौरान 1999 में वह अग्रिम मोर्चे के लड़कू स्क्वाड्रन के कमांडिंग अफसर थे।
नरेंद्र मोदी के शपथ समारोह में शामिल नहीं होंगी मुख्यमंत्री ममता बनर्जी
अपने कैरियर में वह विभिन्न महत्वपूर्ण पदों पर रहते हुए वायु सेना प्रमुख के ओहदे तक पहुंचे। एडमिरल लांबा चार दशक के लंबे कैरियर के बाद 31 मई को सेवा निवृत हो रहे हैं। उन्होंने तीनों सेनाओं के बीच समन्व्य के क्षेत्र में कई महत्वपूर्ण पहल की।