राजस्थान में विधानसभा चुनावों से पहले सीएम अशोक गहलोत और सचिन पायलट की लड़ाई अब नए सिरे से फिर शुरू हो गई है जहां पायलट ने चुनावों से महज 6 महीने पहले अपनी ही सरकार पर सबसे गंभीर आरोप लगाए हैं। जयपुर में रविवार को मीडिया से बात करते हुए सचिन पायलट ने सीएम गहलोत पर पिछली वसुंधरा राजे सरकार के समय सामने आए भ्रष्टाचार के मामलों पर कोई एक्शन नहीं लेने का आरोप लगाया। पायलट ने कहा कि देश में केंद्र सरकार ईडी और सीबीआई जैसी एजेंसियों का गलत इस्तेमाल कर रही है और हमारे कांग्रेस नेताओं पर कार्रवाई हो रही है लेकिन राजस्थान में हमारी सरकार एजेंसियों का कोई इस्तेमाल नहीं कर रही है।
बीजेपी सरकार में कई भ्रष्टाचार के मामले

पायलट ने कहा कि राजस्थान में 2018 के चुनावों से पहले बीजेपी सरकार में कई भ्रष्टाचार के मामले सामने आए लेकिन हमारी सरकार आने के बाद भी उन नेताओं पर कार्रवाई नहीं होने से विरोधी दल यह भी कह सकते हैं कि कहीं राजे और गहलोत के बीच कोई मिलीभगत तो नहीं है। पायलट ने कहा कि 2013 में कांग्रेस की सरकार थी और हम हार गए थे उसके बाद मैं अध्यक्ष बना हूं और 5 साल तक लगातार वसुंधरा सरकार का विरोध किया और 2018 में उनको पटखनी दी। उन्होंने कहा कि पिछली सरकार में वसुंधरा सरकार को भ्रष्टाचार के मुद्दे पर मैंने जमकर घेरा और जनता से हमनें वादा किया कि राजे सरकार के मामलों की हम जांच करवाएंगे और दोषियों को सजा देंगे लेकिन ऐसा कुछ नहीं हुआ।
सीएम गहलोत को दो बार चिट्ठी
पायलट ने बताया कि राजे सरकार के मामलों पर मैंने सीएम गहलोत को दो बार चिट्ठी लिखी थी जिसमें मैंने राजे सरकार के ऊपर लगाए आरोपों पर एक्शन लेने को कहा था लेकिन गहलोत की तरफ से कोई जवाब नहीं मिला। उन्होंने बताया कि मैंने सीएम को पहली चिट्ठी 28 मार्च 2022 को और दूसरी चिट्ठी 2 नवंबर 2022 को लिखी लेकिन कोई जवाब नहीं मिला।