Delhi Flood Story: 'मैं लाचार हूँ, बाढ़ में मेरी कोई गलती नहीं' जानें कैसे साल दर साल अतिक्रमण का शिकार हुई यमुना - Latest News In Hindi, Breaking News In Hindi, ताजा ख़बरें, Daily News In Hindi

लोकसभा चुनाव 2024

पहला चरण - 19 अप्रैल

Days
Hours
Minutes
Seconds

102 सीट

दूसरा चरण - 26 अप्रैल

Days
Hours
Minutes
Seconds

89 सीट

तीसरा चरण - 7 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

94 सीट

चौथा चरण - 13 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

96 सीट

पांचवां चरण - 20 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

49 सीट

छठा चरण - 25 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

57 सीट

सातवां चरण - 1 जून

Days
Hours
Minutes
Seconds

57 सीट

पांचवां चरण - 20 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

49 सीट

Delhi Flood Story: ‘मैं लाचार हूँ, बाढ़ में मेरी कोई गलती नहीं’ जानें कैसे साल दर साल अतिक्रमण का शिकार हुई यमुना

बताया जा रहा है पहले हरियाणा के हथनीकुंड बैराज से दिल्ली में यमुना का पानी आने में समय लगता था, लेकिन बीते सालों से पानी काफी तेजी से दिल्ली पहुंच जाता है, जिससें फिर तबाही..

Main Highlights
  • दिल्ली में बाढ़ का खतरा एक बार फिर 
  • यमुना में अतिक्रमण, लाल किला के पास 
  • यमुना में बाढ़ कब-कब और अतिक्रमण
  • अतिक्रमण जो सभी के आँख के सामने 
  • सरकारी अतिक्रमण भी बड़े पैमाने पर
दिल्ली में बाढ़ का खतरा एक बार रहा है। मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया जा रहा है कि एक बार फिर से यमुना का पानी दिल्ली में कहर बरपा सकता है पर आज की खबर में हम यमुना की बाढ़ के बारे में बात नहीं करने वाले है। आज हम दिल्ली की यमुना में अतिक्रमण की बात करने वाले है। हां आज सभी मीडिया में इस बात को बड़े स्तर पर बताया जा रहा है कि दिल्ली की यमुना में बाढ़ है, लेकिन आज की खबर में हम आपको बताने वाले है कि क्या सच में ऐसा है। राजघाट, दिल्ली का लाल किला, आईटीओ समेत कई बड़े और नामी इलाके पानी में डूबे हुए है। 
1689590921 delhi flood alert history of hathini kund barrage yamuna river water level rise flood news delhi ncr 1689241283
यमुना में अतिक्रमण, लाल किला के पास 
हम आपके लिए एक फोटो लेकर आए है जिसमें आपको देखने से लाल किला का पिछला हिस्सा नजर आएगा। इस में देखें तो आज जिस जगह पर रिंग रोड है, वहां से कभी यमुना नदी निकली करती थी और आज वही जगह पानी में है, तो ऐसे हाल में उसको बाढ़ बताया जा रहा है। सलीमगढ़ किले की तरफ जाने वाले सभी जगहों पर आज सरकारी या किसी निजी आदमी का अतिक्रमण हो गया है। 
1689590971 whatsapp image 2023 07 15 at 3.48.25 pm (1)
यमुना में बाढ़ कब-कब और अतिक्रमण
जानकारी के अनुसार साल 1924 में  इसके बाद से 1977-78, 1988, 1995, 2010, 2013 इन- इन सालों में दिल्ली ने खूब बाढ़ देखी है। पर एक सवाल आता है कि आचनक ऐसा कैसे तो इसका भी एक उत्तर यमुना में अतिक्रमण है। बताया जा रहा है पहले हरियाणा के हथनीकुंड बैराज से दिल्ली में यमुना का पानी आने में समय लगता था, लेकिन बीते सालों से पानी काफी तेजी से दिल्ली पहुंच जाता है, जिसके पीछे भी यमुना में अतिक्रमण के वजह से उसके घटते चौड़ाई ने आज दिल्ली का ये हाल किया है। 
1689590945 untitled design 8
अतिक्रमण जो सभी के आँख के सामने 
“ओ जोन” नदी के उस हिस्से को कहते है जहां किसी भी प्रकार का निर्माण गैरकानुनी है पर अंधाधुंध अवैध निर्माण अभी भी हो रहा है। यमुना के पेट तक निर्माण किया जा रहा हैं। पूरी दिल्ली में यमुना में बड़े पैमाने पर अतिक्रमण हुआ है, चाहे वह पूर्वी दिल्ली में मयूर विहार और आसपास के इलाके हों, दक्षिणी दिल्ली में मदनपुर खादर हों, या उत्तर पश्चिमी दिल्ली में वजीराबाद और आसपास के इलाके हों सभी जगहों पर अतिक्रमण। 
1689590984 yf 130822 5
डीएनडी से गीता कॉलोनी, ओखला, वजीराबाद और पल्ला बेल्ट तक भी अतिक्रमण। यमुना के किनारे नई-नई कॉलोनियां विकसित हो रही हैं। राजीव नगर, सोनिया विहार और जैतपुर एक्सटेंशन ऐसे तीन उदाहरण सभी के सामने हैं।
सरकारी अतिक्रमण भी बड़े पैमाने पर
यमुना नदी के तटों पर बड़े पैमाने पर हो रहे अवैध निर्माण के कारण नई कॉलोनियां आकार लेने लगी हैं। यमुना नदी के किनारे, जहां खेती के अलावा, अंधाधुंध अवैध कंक्रीट निर्माण होते रहे हैं, एनजीटी ने एक बार सभी प्रकार की कृषि पर प्रतिबंध लगा दिया था। 2020 में एनजीटी को दी एक रिपोर्ट में, दिल्ली विकास प्राधिकरण ने दावा किया कि यमुना बाढ़ क्षेत्र में 960 हेक्टेयर भूमि पर अतिक्रमण किया गया था। 
1689591070 navbharat times 99905984
यहां तक कि सरकार भी यमुना क्षेत्र में निर्माण करने से पीछे नहीं हटी। इसके जीवंत उदाहरणों में यमुना बैंक मेट्रो स्टेशन, कॉमनवेल्थ गेम्स विलेज और मिलेनियम पार्क बस डिपो शामिल हैं। ये सभी केवल “ओ” जोन में ही बनाये गये थे। प्रकृति से छेड़छाड़ की गई तो आखिरकार उसका जवाब भी प्रकृति ही देगा। 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

sixteen − 2 =

पंजाब केसरी एक हिंदी भाषा का समाचार पत्र है जो भारत में पंजाब, हरियाणा, राजस्थान, हिमाचल प्रदेश और दिल्ली के कई केंद्रों से प्रकाशित होता है।