कांग्रेस ने बुधवार को आरोप लगाया कि कर्नाटक में अमूल और नंदिनी ब्रांड के बीच जबरन समन्वय करने की घोषणा बीजेपी द्वारा राज्यों में डेयरी सहकारी संस्थाओं पर नियंत्रण स्थापित करने का प्रयास है। पार्टी महासचिव जयराम रमेश ने कहा कि कांग्रेस ऐसा नहीं होने देगी कि भारतीय जनता पार्टी एक राष्ट्र और एक दूध का नारा दे। पांच अप्रैल को अमूल द्वारा बेंगलुरु में दूध और दही की आपूर्ति करने की घोषणा के बाद से चुनावी राज्य कर्नाटक में राजनीतिक विवाद खड़ा हो गया है। विपक्षी दलों ने आशंका जताई है कि कर्नाटक के 21,000 करोड़ रुपये के नंदिनी ब्रांड का अमूल के साथ विलय किया जा सकता है।
किसानों की जगह अपना नियंत्रण स्थापित करने को लेकर भाजपा पर बोला हमला
रमेश ने एक बयान में कहा, ” प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और उनकी सरकार अपने चिर परिचित अंदाज में कदम बढ़ा रही है। वे संविधान की उपेक्षा करके सहकारी संस्थाओं पर नियंत्रण कर रहे हैं, जबकि सहकारिता राज्यों से संबंधित विषय है। उन्होंने केंद्र में सहकारिता मंत्रालय के गठन से लेकर अब तक के कुछ घटनाक्रमों का उल्लेख करते हुए आरोप लगाया कि भाजपा सहकारी संस्थाओं पर किसानों की जगह अपना नियंत्रण स्थापित करना चाह रही है।
अमूल के प्रमुख का इस मुद्दे पर क्या कहना है जानें
रमेश ने कहा, कांग्रेस ने हमेशा भारत के संघीय और विकेंद्रीकृत दृष्टिकोण का समर्थन किया है। वह भाजपा और सहकारिता मंत्री अमित शाह के केंद्रीकृत नियंत्रण के प्रयासों का विरोध करती है। उधर, गुजरात की सहकारिता कंपनी अमूल के प्रमुख जयेन मेहता ने मंगलवार को कहा कि वह बेंगलूरु में केवल ऑनलाइन चैनल के जरिये दूध और दही बेचेंगे। उन्होंने स्पष्ट किया कि नंदिनी दूध के साथ उनकी कोई प्रतिस्पर्धा नहीं है।