प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मंगलवार को कहा कि उनकी सरकार ने विकास परियोजनाओं को लागू करने में ‘‘टालमटोल’’ की कार्य संस्कृति को बदल दिया है। देश के सबसे लंबे रेल सह सड़क पुल का असम के बोगीबील में उद्घाटन करने के बाद एक रैली को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि एक निश्चित समय सीमा के तहत परियोजनाओं को पूरा किया जाना कागजों तक सीमित नहीं है बल्कि हकीकत बन गया है। उन्होंने पूर्ववर्ती कांग्रेस नीत संप्रग सरकार पर तंज कसते हुए कहा, ‘‘हमने ‘लटकने भटकने’ की पहले की कार्य संस्कृति को बदल दिया है… परियोजनाओं के पूरा होने की समय सीमा कागजों तक सीमित नहीं है बल्कि वास्तव में सच्चाई बन गई है।
उन्होंने ने कहा कि हेलीकॉप्टर घोटाले का राजदार जेल पहुंच जाएगा, 4 साल पहले कोई नहीं सोच सकता था। प्रधानमंत्री ने कहा कि हमारी सरकार मेडिकल सेक्टर में भ्रष्टाचार खत्म करने के लिए सख्त कदम उठा रही है। उन्होंने कहा कि चार साल पहले कोई नहीं सोच सकता था कि हेलीकॉप्टर घोटाले का सबसे बड़ा राजदार जेल में चला जाएगा।
प्रधानमंत्री ने कहा कि अगर पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी दूसरी बार जीतते तो बोगीबील पुल 2008-2009 तक बनकर ही पूरा हो जाता। उनकी सरकार के बाद 2014 तक परियोजना पर ध्यान नहीं दिया गया। उन्होंने कहा कि बोगीबील पुल पर वाहनों और रेलगाड़ियों की आवाजाही से देश की सुरक्षा व्यवस्था पुख्ता होगी। उन्होंने कहा कि यह केवल पुल नहीं है बल्कि असम और अरूणाचल प्रदेश के लोगों की जीवनरेखा है।
मोदी ने कहा कि पुल से असम के डिब्रूगढ़ और अरूणाचल प्रदेश के नाहरलागून के बीच की दूरी 700 किलोमीटर से घटकर 200 किलोमीटर से भी कम रह जाएगी। पुल का उद्घाटन करने के बाद प्रधानमंत्री ने तिनसुकिया-नाहरलागून इंटरसिटी एक्सप्रेस को हरी झंडी दिखाई जो हफ्ते में पांच दिन चलेगी और इससे असम के तिनसुकिया और अरूणाचल प्रदेश के नाहरलागून के बीच रेलगाड़ी से यात्रा की अवधि दस घंटे से भी कम हो जाएगी। नाहरलागून से अरूणाचल प्रदेश की राजधानी ईटानगर करीब 15 किलोमीटर दूर है।