रूस और यूक्रेन बीच शुरू हुए युद्ध संकट के बाद भारत सरकार ने कड़ी मश्कत के साथ यूक्रेन में फंसे छात्रों की वतन वापसी की। लेकिन, अभी तक इन छात्रों की आगे की पढ़ाई को लेकर केंद्र सरकार की ओर से किसी तरह के इंतजाम का ऐलान नहीं हुआ है। ऐसे में छात्र अपने भविष्य को लेकर चिंता में है।
इस बीच तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने छात्रों की समस्या को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखा है। पत्र में उन्होंने प्रधानमंत्री से यूक्रेन से लौटे छात्रों को भारतीय निजी कॉलेजों में समायोजित करने के लिए हस्तक्षेप की मांग की। उन्होंने विदेशों में उपयुक्त कॉलेजों की पहचान और प्रक्रिया के केंद्र में समन्वय करने के लिए रूपरेखा तैयार करने का अनुरोध किया।
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सीएम स्टालिन ने खत में यूक्रेन से लौटे भारतीयों के लिए अतिरिक्ट सीटें भी तैयार करने का आग्रह किया है। इस खत में एमके स्टालिन ने सुप्रीम कोर्ट में केंद्र के उस रूख पर नाराजगी जाहिर की है, जिसमें कहा गया था कि यूक्रेन से लौटे भारतीयों को यहां के कॉलेजों में दाखिला नहीं दिया जा सकता।