अमरावती में उमेश कोल्हे के हत्याकांड मास्टरमांइड को एनआईए की विशेष अदालत ने 7 जुलाई तक की कस्टडी में भेज दिया हैं। वहीं एनआईए ने यूएपीए की 16 , 18 व 20 धारा समेत तमाम अन्य धाराओं में आरोपियों के खिलाफ केस दर्ज कर लिया है। बता दें कि कल शाम तक पुलिस ने इस हत्याकांड में सात लोगों को गिरफ्तार कर लिया था।
कौन हैं उमेश कोल्हे के हत्याकांड का मास्टरमांइड
चरमपंथियों ने उमेश कोल्हे की हत्या सिर्फ इस गुनाह के लिए कर दी कि उसने बीजेपी की निलंबित प्रवक्ता नुपूर शर्मा के बयान में एक मैसेज को गलती से दूसरे ग्रुप में फोरवर्ड कर दी थी। इस घटना की साजिश रचने वाला 32 वर्षीय मौलाना इरफान था, वह अमरावती में रहकर ही एक एनजीओं चलाता हैं। उसने ही उमेश कोल्हे की हत्या की साजिश रची थी व उसने ही हत्या करने वाले लोगों को पैसा व लोजिस्टिक मदद की थी। हत्या करने वाले लोग पैसे से मजदूरी करते हैं,जिनके द्वारा उसने अपनी चरमपंथी सोच के साथ उमेश कोल्हे की हत्या कराई। बताया जा रहा हैं हत्या करने वाले सभी व्यक्ति मुस्लिम समुदाय से संबंध रखते हैं।
जघन्य भी शून्य , इस तरह से किया गया हमला, दिमाग , सांस, खाने की काटी नली
उमेश कोल्हे की पोस्टमार्टम आ गई हैं, पोस्टमार्टम में बताया जा रहा हैं।हमले में उसके दिमाग पर धारदार हथियार से हमला कर नस काटी दी। जिसके कारण उसकी मौत हो गई। चाकू के वार से उमेश की सांस लेने वाली नली, खाने की नली और आंखों की नसें भी बुरी तरह से प्रभावित हुई हैं। पुलिस ने बताया कि उमेश के गले पर पांच इंच चौड़ा, सात इंच लंबा और पांच इंच गहरा घाव था।
दोनों केसों की जांच एनआईए के हाथ
इन दोनों हत्या के कारण देश के सामने इस्लामिक चरमपंथ के खिलाफ आग उगल गई है। आखिर किस कारण भारत में ही रहने वाले लोग तालिबानी नृशंसता के साथ लोगों का कत्ल कर रहे हैं। कभी सीरीया में होने वाला सिर कलम आज भारत को अपनी जद में ले रहा हैं। एनआईए दोनों केसों की जांच इंटरनेशनल आतंकी कनेक्शन से जोड़ कर रही हैं, अभी तक उदयपुर हत्याकांड में एनआईए ने कई बड़े खुलासे किए हैं। लेकिन अमरावती में उमेश कोल्हे हत्याकांड में पुलिस ने सात लोगों को गिरफ्तार करके पूछताछ कर रही हैं।
अमरावती सांसद ने पुलिस पर लगाए कार्रवाई ना करने के आरोप
एक निजी समाचार चैनल को अपना वक्त्वय देते हुए अमरावती की निर्दलीय सांसद ने पुलिस पर कार्रवाई ना करने के खुलकर आरोप लगाए, साथ उन्होनें कहा राजनीतिक प्रभाव में पुलिस ने इस मामले को चोरी के केस से जोड़ने की कोशिश की। और इसी के चलते कोई कार्रवाई नही की।