देश की सबसे बड़ी विमान सेवा कंपनी इंडिगो ने यात्रियों की संख्या के मामले में दिवाली तक कोविड-19 से पहले की तुलना में 60 प्रतिशत उड़नों के परिचालन पर पहुँचने की उम्मीद जतायी है। मार्च में लागू पूर्णबंदी के बाद दो महीने के अंतराल पर 25 मई से घरेलू मार्गों पर यात्री उड़नें फिर से चलनी शुरू हुई हैं। शुरुआत काफी धीमी रही। हवाई यात्री परिवहन में 60 फीसदी की बाजार हिस्सेदारी रखने वाली इंडिगो ने बताया कि अगस्त में उसने 32 प्रतिशत तक उड़नों का परिचालन किया और अगले दो महीने में उसे 60 फीसदी पर पहुँचने की उम्मीद है।
इंडिगो के मुख्य कार्यकारी अधिकारी रोनोजॉय दत्ता ने बताया ‘‘हवाई यात्रा की माँग और विमान सफर में यात्रियों का विश्वास धीरे-धीरे बढ़ रहा है। भरी सीटों के अनुपात, राजस्व और अग्रिम बुकिंग में स्थिर गति से वृद्धि हो रही है। मौजूदा रफ्तार से वृ़द्धि होती रही तो हमें दिवाली से पहले कोविड-19 पूर्व की तुलना में 60 प्रतिशत उड़नों के परिचालन पर पहुँचने की उम्मीद है। हम समय की जरूरत के हिसाब से अपने कारोबारी ढाँचे में बदलाव करते रहेंगे।’’
सरकार ने घरेलू यात्री सेवा दुबारा शुरू करते समय मई में कोविड-19 पूर्व की संख्या की तुलना में हर एयरलाइन को एक-तिहाई उड़नें शुरू करने की अनुमति दी थी। जून के अंत में इस सीमा को बढ़कर 45 प्रतिशत किया गया था जिसे अब 60 प्रतिशत कर दिया गया है। सितंबर में देश में घरेलू उड़नों की संख्या कोविड-पूर्व स्तर के एक-तिहाई पर पहुँच गई है।
दुबारा उड़नें शुरू होने पर इंडिगो की बाजार हिस्सेदारी 10 प्रतिशत से ज्यादा बढ़ गई है। नागर विमानन महानिदेशालय के आंकड़ों के अनुसार, कोविड-19 से पहले जहाँ उसकी बाजार हिस्सेदारी 50 प्रतिशत से कुछ कम थी, जुलाई में वह बढ़कर 60 फीसदी के पार पहुँच गई।
इंडिगो ने गत शनिवार को पूर्णबंदी के बाद से 50 हजार उड़नों का
आंकड़ा पार कर लिया। वह ऐसा करने वाली देश की पहली एयरलाइन है। इसमें नियमित यात्री उड़नों के अलावा चार्टर्ड यात्री उड़नें, चार्टर्ड मालवहन उड़नें और वंदे भारत मिशन की उड़ाने भी शामिल हैं।