नई दिल्ली : दिल्ली विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष विजेन्द्र गुप्ता ने चीनी मांझे के कारण हर साल घट रही जानलेवा घटनाओं को गंभीरता से लेते हुए इस पर लगाम लगाने में विफल रही केजरीवाल सरकार की कड़ी भर्त्सना की है। जब देश में 73वां स्वतंत्रता दिवस व रक्षाबंधन का त्योहार मनाया जा रहा था, उसी दिन दिल्ली में एक नौजवान युवक को चीनी मांझे के कारण अपनी जान गंवानी पड़ी।
पतंग उड़ाते समय हाइटेंशन तार की चपेट में आने के कारण दिल्ली के रणहौला क्षेत्र में एक और युवक झुलस गया जिसकी अस्पताल में इलाज के दौरान मौत हो गई। नेता विपक्ष ने कहा कि हर साल भारी संख्या में लोग चीनी मांझे की चपेट में आने से हादसों का शिकार होते हैं परंतु केजरीवाल सरकार इस चीनी मांझे से होने वाले जानलेवा हादसों से कोई सबक नहीं ले रही है। दिल्ली की हत्यारी सरकार को जनता के जानमाल की कोई चिंता ही नहीं है।
केजरीवाल सरकार मांझा माफिया से मिली हुई है। इसी कारण वे चीनी मांझा विक्रेताओं के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं करना चाहती। केवल इंसान ही नहीं, अपितु पशु-पक्षी भी चीनी मांझे के कारण घायल हो रहे हैं। चीनी मांझे के कारण दिल्ली मेट्रो की रेड लाइन पर भी गुरुवार को कई घंटों तक मेट्रो परिचालन बाधित रहा। गुप्ता ने कहा कि वे चीनी मांझे से जानलेवा हादसों का मामला विधानसभा में भी उठा चुके हैं, लेकिन दिल्ली सरकार चीनी मांझे के इस्तेमाल पर लगाम लगाने में पूरी तरह विफल रही है।
घायल पंक्षियों का आंकड़ा 700 के पार
पतंगबाजी भले ही आपका शौक हो सकता है और आपकों पतंग उड़ाने में मजा भी आता हो। लेकिन आपके शौक व मजे की वजह से बेजुबानों की जान पर आन पड़ी हैं। 15 अगस्त पर उड़ाई गई पतंगों के मांझे के बीच बेजुबान चपेट में आए। महज तीन दिनों में लगभग 700 घायल बेजुबानों को उपचार के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है। हालांकि इस बीच उपचार के दौरान कई पक्षी दम भी तोड़ रहे हैं।
मरने वाले पक्षियों में कबूतर, कौआ, चिड़िया सहित अन्य पक्षी शामिल है। चैरिटी बर्ड अस्पताल के प्रबंधक सुनिल जैन कहा कि स्वतंत्रता दिवस से लेकर अब तक 700 से अधिक घायल पक्षी आ चुके हैं। इसमें भी सबसे अधिक पुरानी दिल्ली के विभिन्न इलाकों से हैं।