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भारत और मिस्र की सेना के बीच क्यों हो रहा युद्ध अभ्यास, जानिए बड़ा कारण

भारत और मिस्र की सेना संयुक्त युद्ध अभ्यास कर रही है। इस सैन्य प्रशिक्षण को ‘अभ्यास साइक्लोन 1’ का नाम दिया गया है। यह सैन्याभ्यास दोनों देशों की सेनाओं के बीच अब तक का पहला संयुक्त अभ्यास है।

भारत और मिस्र की सेना संयुक्त युद्ध अभ्यास कर रही है। इस सैन्य प्रशिक्षण को ‘अभ्यास साइक्लोन 1’ का नाम दिया गया है। यह सैन्याभ्यास दोनों देशों की सेनाओं के बीच अब तक का पहला संयुक्त अभ्यास है। इसमें हिस्सा लेने वाले सैन्यकर्मी आतंकी ठिकानों पर सर्जिकल स्ट्राइक करने, संयुक्त रूप से योजना बनाने, युद्ध-भूमि में मुकाबला करने और बड़े लक्ष्यों पर स्नाइपर-शूटिंग का भी अभ्यास करेंगे।
 संयुक्त अभ्यास पर रक्षा मंत्रालय का बयान 
भारत और मिस्र की सेनाओं के बीच ‘अभ्यास साइक्लोन-1’ राजस्थान के जैसलमेर में चल रहा है। इसका लक्ष्य है दोनों देशों के बीच रक्षा सहयोग को बढ़ावा देना। इसके तहत रेगिस्तानी इलाके में विशेष बलों के आपसी तालमेल, संचालन और पेशेवराना कौशल को एक-दूसरे से साझा करना। सैन्याभ्यास में आतंकवाद विरोधी, टोह लगाना, धावा बोलना और अन्य विशेष अभियानों को भी शामिल किया गया है।
भारतीय रक्षा मंत्रालय के मुताबिक साइक्लोन-1 अभ्यास अपनी तरह का पहला सैन्याभ्यास है। इस सैन्य अभ्यास में दोनों देशों के विशेष बल संयुक्त रूप से एक मंच पर एकत्र हुए हैं। यह सैन्याभ्यास 14 दिन चलेगा और इसे राजस्थान के रेगिस्तानों में संचालित किया जा रहा है।
स्नाइपर-शूटिंग  के साथ कई युद्ध अभ्यास
रक्षा मंत्रालय का कहना है कि अभ्यास के दौरान दोनों देशों के उन्नत विशेष बल स्नाइपिंग, कॉम्बेट-फ्री फॉल, टोह लगाने, निगरानी करने, लक्ष्य निर्धारित करने जैसे कौशलों को साझा करेंगे। इसके साथ ही अभ्यास में हिस्सा ले रहे दोनों देशों के सैनिकों द्वारा हथियारों, उपकरणों, नवाचारों, तकनीकों, रणनीतियों और प्रक्रियायों सम्बंधी सूचनाओं का आदान-प्रदान भी किया जाएगा। रक्षा मंत्रालय ने इस विषय में जानकारी देते हुए शुक्रवार को बताया कि हिस्सा लेने वाले सैन्यकर्मी संयुक्त रूप से योजना बनाने, युद्ध-भूमि में मुकाबला करने, आतंकी ठिकानों व कैंपों पर सर्जिकल स्ट्राइक करने और बड़े लक्ष्यों पर स्नाइपर-शूटिंग का भी अभ्यास करेंगे।
रक्षा मंत्रालय का कहना है कि संयुक्त सैन्याभ्यास से दोनों देशों की सेनाओं की संस्कृति और मानस को समझने में सहायता मिलेगी, जिसके आधार पर सैन्य सहयोग तथा आपसी संचालन को बढ़ाया जा सकेगा। इससे भारत और मिस्र के बीच राजनयिक रिश्ते भी और मजबूत होंगे।
‘ऑस्ट्रेलिया हिंद’ की श्रृंखला में पहला युद्ध अभ्यास  
इससे पहले भारतीय सेना और ऑस्ट्रेलियाई सेना की टुकड़ियों के बीच द्विपक्षीय सैन्य प्रशिक्षण अभ्यास पिछले साल राजस्थान के महाजन फील्ड फायरिंग रेंज में हुआ था। सैन्य अभ्यास में हिस्सा लेने के लिए ऑस्ट्रेलियाई सेना की एक विशेष ब्रिगेड भारत पहुंची थी। ‘ऑस्ट्रेलिया हिंद’ की श्रृंखला में यह पहला अभ्यास था जिसमें दोनों सेनाओं के सभी हथियारों और सेवाओं की भागीदारी थी। भारतीय और ऑस्ट्रेलियाई सशस्त्र बलों का संयुक्त सैन्य अभ्यास 28 नवंबर को शुरू हुआ था और यह पिछले साल 11 दिसंबर तक चला था।

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